तुम्हारी यादें
सच्चे-झूठे प्यार के वादें
रूठने-मनाने की अनगिनत बातें
वरना
आज
हम साथ होते
तो
बढ़ते वजन
और
घटते बालों
के बीच
मोहब्बत
तुमसे बेहतर हैं
तुम होती तो
न यादें होती
न बातें होती
थकी-थकाई सी
रातें होती
सोते हम एक बिस्तर पर
पर दो तकियों के बीच
हज़ारों मील की
दूरी होती
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